उल्लेखनीय है कि शमी ने सेमीफाइनल में 48 रन देकर तीन विकेट लिए थे। इस जीत के बाद मौलाना के बयान पर विवाद छिड़ गया। NCP-SP नेता रोहित पवार ने भी शमी का बचाव करते हुए ANI से कहा- अगर उन्हें लगता है कि रोजा रखने से उनके प्रदर्शन पर असर पड़ सकता है, तो उन्हें खेल को प्राथमिकता देने का अधिकार है। वह एक गौरवान्वित भारतीय हैं जिन्होंने देश के लिए मैच जीते हैं। शिया मौलाना यास्सोब अब्बास ने भी इस बयान को सिर्फ ध्यान खींचने वाला बताया। उन्होंने कहा- धर्म जबरदस्ती का नाम नहीं है। बहुत से लोग रोजा नहीं रखते, लेकिन शमी को ही क्यों निशाना बनाया जा रहा है?